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इयाद कर के हमरा के रोअत होईहन-भोजपुरी गीत

गीतकार - कलामुद्दीन कमली, सिरिसिया, पश्चिमी चम्पारण

इयाद कर के हमरा के रोअत होईहन
ऊं जीनगी के बोझ ज‌ईसे ढोअत होईहन

बड़ा मुश्किल से कटत होई दिन हो
हर वक्त देखे ला कहत होई दिल हो
ऊं खड़की से राह हमर जोहत होईहन
इयाद कर के हमरा के रोअत होईहन

दुनिया के अईसन बनल काहे रीत जी
हमसे जे दूर क‌ईल ग‌ईल हमर मित जी
ऊं रतियों में निक से ना सोअत होईहन
इयाद कर के हमरा के रोअत होईहन

केतना अजीब भईल होई ऊ पल यार
हांथ जब ध‌ईले होखिये उनकर बलम यार
ऊं लोरवन से कजरा के धोअत होईहन
इयाद कर के हमरा के रोअत होईहन

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